कोरोना के चलते अब टमाटर पर मंदी की मार-बढ़ी किसानों की मुसीबत-थोक में-1′ रुपये किलो तक बिका टमाटर..

  • थोक बाजारों में टमाटर की कीमत तीन साल के निचले स्तर पर
  • वर्तमान में टमाटर की खुदरा कीमत घटकर 2 रुपये प्रति किलोग्राम
  • आजादपुर मंडी में मौजूदा कीमत 440 रुपये प्रति क्विंटल है

नई दिल्ली 
कोरोना ने टमाटर किसानों की हालत खराब कर दी है। दिल्ली, बेंगलुरु और हैदराबाद के थोक बाजारों में टमाटर की कीमत तीन साल के निचले स्तर पर पहुंच गई है। सरकारी आंकड़ों के अनुसार,

कोरोना के कारण डिमांड में भारी गिरावट आई है और टमाटर की आवक बढ़ गई है। दिल्ली के आजादपुर मंडी में शुक्रवार को टमाटर का थोक भाव 1-4 रुपये प्रति किलोग्राम तक नीचे चली गई।

देश की राजधानी दिल्ली की थोक मंडियों में टमाटर, प्याज समेत तमाम सब्जियों के दाम में इस महीने भारी गिरावट आई है। फलों और सब्जियों की एशिया की सबसे बड़ी थोक मंडी, दिल्ली स्थित आजादपुर मंडी में टमाटर एक रुपया प्रति किलो से भी कम भाव पर बिकने लगा है।

मंडी के कारोबारी और आढ़ती बताते हैं कि सब्जियों के फुटकर विक्रेताओं की तादाद मंडी में काफी कम हो गई है, जिसके कारण मांग कम है। ओखला मंडी के आढ़ती विजय अहूजा ने एजेंसी को बताया कि मंडी में दो रुपये किलो भी टमाटर का कोई लेवाल नहीं है।

उन्होंने बताया कि टमाटर ही नहीं, अन्य हरी सब्जियां भी औने-पौने दाम पर बिक रही हैं। अहूजा ने बताया कि घिया का थोक भाव दो से तीन रुपये प्रति किलो हो गया है और तोरई छह रुपये किलो बिक रही है। इसी प्रकार, अन्य सब्जियों के दाम में भी गिरावट आई है। प्याज का औसत भाव इस महीने में अब तक एक से डेढ़ रुपये कम हो गया है, जबकि प्याज के भाव का निचला स्तर 2.50 रुपये किलो तक हो गया है।

अहूजा ने बताया कि दिल्ली से लाखों लोगों के पलायन कर जाने से दाम घट गया है। आजादपुर मंडी के कारोबारी और ऑनियम मर्चेंट एसोसिएशन के अध्यक्ष राजेंदर शर्मा ने बताया कि मंडी में लेवाल कम हो जाने के कारण टमाटर समेत तमाम सब्जियों के दाम में गिरावट आई है। उन्होंने कहा कि रेस्तरां, ढाबा सब बंद हैं, जिसके कारण खपत मांग घट गई है। हालांकि उनका यह भी कहना है कि टोकन सिस्टम के कारण ग्राहकों को काफी इंतजार करना पड़ जाता है, जिससे वे सब्जी लेने के लिए मंडी नहीं आना चाहते हैं। 

उल्लेखनीय है कि मंडी में भीड़भाड़ कम करने और सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करने के लिए टोकन सिस्टम से प्रवेश की व्यवस्था की गई है। मंडी के एक अन्य कारोबारी ने कहा कि दिल्ली से लाखों मजदूर पलायन कर चुके हैं, लिहाजा सब्जियों की खपत कम हो गई है, लेकिन फलों की मांग कम नहीं हुई है, इसलिए फलों के दाम में कमी नहीं आई है।

आजादपुर मंडी एपीएमसी के रेट के अनुसार, टमाटर का थोक भाव जहां एक मई को 6-15.25 रुपये प्रति किलो था, वहां विगत तीन दिनों से यह 0.75-5.25 रुपये प्रति किलो बिक रहा है। इसी प्रकार प्याज का थोक भाव जहां एक मई को 4.50-11.25 रुपये प्रति किलो था, वहीं शनिवार को यह 2.50-8.50 रुपये प्रति किलो था।

हालांकि देश की राजधानी और आसपास के इलाकों की कॉलोनियों में सब्जी विक्रेता टमाटर 15-20 रुपये प्रति किलो बेच रहे हैं। इसी प्रकार अन्य सब्जियों के दाम भी थोक भाव से काफी ऊंचे चल रहे हैं।

इस बारे में दिल्ली के आर.के. पुरम में फल और सब्जी बेच रहे शिवपाल ने बताया कि मंडी से वह थोक में जो सब्जी या फल लाते हैं, उनमें से कुछ सब्जी व फल खराब हो जाते हैं। इसके अलावा किराया इस समय ज्यादा लग रहा है, इसलिए उनको थोक बाजार के मुकाबले ऊंचे दाम पर बेचना पड़ता है।

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