ठगी का ऐसा गोरखधंधा जिसे सुनकर आप हो जाएंगे दंग, बांका में एक ठगी खेल का हुआ भंडाफोड़..

पिछले आठ माह से चल रहे धंधे का भंडाफोड़, गिरफ्त में फर्जी पुलिसकर्मी व कर्मचारी, 5 गिरफ्तार, जिला समादेष्टा कार्यालय के नाम पर आवेदन लेते..

बताते चलें, 8 माह से चल रहा था यह गोरखधंधा और किसी को कानों कान खबर तक नहीं, यह बांका पुलिस पर सवालिया निशान, यहां ठगों ने स्कॉट पुलिस टीम पटना के नाम से एक फर्जी ट्रस्ट बना रखा था। वहां आने वालों से जिला समादेष्टा के कार्यालय के नाम पर आवेदन लेते थे और कहते थे कि बहुत जल्द पुलिस में भर्ती कराए जाएंगे। सभी आरोपी खुद को पुलिसवाला बताकर पुलिस में बहाली कराने के नाम पर लोगों से ठगी करते थे। पिछले आठ माह से यह धंधा चल रहा था।

सूत्रों की माने तो, बुधवार को पुलिस ने पूरे मामले का भंडाफोड़ किया। इस मामले में पांच लोगों को गिरफ्तार किया गया है, जबकि गिरोह का मुख्य सरगना फरार है। पुलिस उसकी तलाश में छापेमारी कर रही है। जानकारी के मुताबिक गिरोह के तीन सदस्य राम नगर हाट में बन रहे सरकारी दुकान का मुआयना कर लौट रहे थे। इनमें एक महिला व एक पुरुष पुलिस वर्दी में थे। महिला पुलिस के पास पिस्टल था। इसी दौरान एसडीपीओ डीसी श्रीवास्तव अपने पुलिसबल के साथ उधर से गुजर रहे थे।

जब एक महिला पुलिस के पास पिस्टल देखा तो उन्हें शक हुआ। इसके बाद तीनों से पूछताछ की गई तो मामले का खुलासा हुआ। गिरफ्तार आरोपी में दुघटिया फुल्लीुमर निवासी मुकेश मुर्मू की पत्नी अनिता देवी, खानपुर भागलपुर निवासी अजय मांझी की पुत्री जुली कुमारी, अशोक मांझी का पुत्र आकाश कुमार, लोहरिया फुल्लीडुमर निवासी उमेश चंद्र का पुत्र रमेश कुमार व पथरा फुल्लीडुमर निवासी वकील मांझी शामिल हैं।.
फिर जांच के बाद हुआ खुलासा बांका एसडीपीओ श्री श्रीवास्तव ने बताया कि गिरोह के मुख्य सरगना की तलाश की जा रही है, जो अबतक फरार बताया जा रहा है। फिलहाल पुलिस तलाशी में जुटी है, उसके पकड़े जाने के बाद सारा तथ्य उजागर हो पाएगा। उन्होंने बताया कि बांका में किसी भी महिला पुलिस को पिस्टल नहीं दिया गया है। महिला पुलिस के पास पिस्टल होने के कारण शक हुआ और कार्रवाई की गई। अनिता और आकाश वर्दी में रहते थे, जबकि रमेश कार्यालय कर्मी का काम करता था। पूछताछ में अनिता ने बताया कि सरगना भोला यादव ने उनलोगों से पैसे लेकर बहाली की थी। उससे 90 हजार रुपए लिए, जबकि जूली से 55 हजार रुपए लिए। भोला ने उनलोगों से कहा था कि सरकार की तरफ से नौकरी दी जा रही है।

सभी के आईडी कार्ड भी फर्जी पाए गए,कागजात जब्त कर एसडीपीओ ने बताया कि फर्जी कार्यालय में बिहार स्टेट फूड एंड सिविल सप्लाई कॉरपोरेशन लिमिटेड का बड़ा-बड़ा रजिस्टर्ड मिला है। यहां के सभी कर्मी के पास फर्जी आईडी थे। आईकार्ड में स्कॉट पुलिस टीम पटना लिखा हुआ था। कई सरकारी कामों के लिए ये वसूली करते थे। फिलहाल पुलिस जांच में जुटी है, मुख्य सरगना पकड़े जाने के बाद, यह सारी तथ्यों का पर्दाफाश हो पाएगा

रिपोर्ट:- अमित कुमार सिन्हा बांका.

Share
Now