तीन दशक के बाद दिन का पारा 28 डिग्री सेल्सियस शिमला में सितंबर महीने में रिकॉर्ड किया जा रहा है, इससे पहले सितंबर 1994 में शिमला का अधिकतम तापमान रिकॉर्ड 28.6 डिग्री रहा था।
बिलासपुर और ऊना में अधिकतम तापमान 35 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है…
जानकारी के लिए बताते चलें, हिमाचल प्रदेश में पिछले कुछ दिनों से मॉनसून धीमा हो गया है। इसके चलते दिन में तीखी धूप खिलने की वजह से गर्मी से लोगों को काफी परेशान है। मैदानी इलाकों में मई महीने की तरह गर्मी का प्रकोप देखा जा रहा है।जहां हमीरपुर, कांगड़ा, बिलासपुर और ऊना में अधिकतम तापमान 35 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया है। सितंबर महीने के आखिरी दिनों में मौसम के गर्म मिजाज से लोग आश्चर्यचकित हैं। बादलों के न बरसने से हिल्स स्टेशनों में भी गर्मी से लोगों के पसीने छूट रहे है, मौसम ने गजब का कहर ढाया है, अगर बात राजधानी शिमला की करें तो सितंबर महीने में सोमवार को तीन दशक बाद दिन का पारा 28 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड हुआ है। इससे पहले सितंबर 1994 में शिमला का अधिकतम तापमान 28.6 डिग्री रहा था। अन्य ठंडे रहने वाले पहाड़ी इलाकों कल्पा, कुफरी, नारकंडा और डल्हौजी में भी अधिकतम तापमान में उछाल देखने को मिला है। राज्य के अधिकतम क्षेत्रों में मंगलवार को भी आसमान साफ है तथा पारे में और उछाल आने की संभावना है।
निदेशक कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि मॉनसून अब अंतिम चरण में है और 26 व 27 सितंबर को इसका असर देखने को मिलेगा…
IMD द्वारा शिमला के निदेशक कुलदीप श्रीवास्तव ने बताया कि मॉनसून अब अंतिम चरण में है और 26 व 27 सितंबर को इसका असर देखने को मिलेगा। राज्य के कई हिस्सों में इस दौरान गर्जन और बिजली के साथ बारिश का येलो अलर्ट जारी किया गया है। खासकर 26 सितंबर को भारी वर्षा होने की आशंका बनी हुई है। उनका कहना है कि बादलों के बरसने से दिन के तापमान में कमी देखने को मिलेगी। 28 व 29 सितंबर को भी हल्की वर्षा व फुआर होने के आसार हैं, हालांकि किसी तरह का अलर्ट नहीं रहेगा।
मॉनसून के धीमे पड़ने से राज्य के न्यूनतम तापमान में उछाल आया है और रातें गर्म हो गई हैं। सोमवार की रात 16 शहरों का न्यूनतम पारा सामान्य से अधिक दर्ज किया गया। शिमला में न्यूनतम पारा 18, सुंदरनगर में 21, भुंतर में 19.5, कल्पा में 12, धर्मशाला में 19.9, ऊना में 22.6, नाहन में 24.1, केलंग में 10.2, पालमपुर में 18, सोलन में 20.5, मनाली में 15.6, कांगड़ा में 20.6, मंडी में 22.7 और बिलासपुर में 23.8 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया।
शिमला-बिलासपुर नेशनल हाइवे सोलन जिला के दाड़लाघाट के पास कराड़ा घाट में हुए भूस्खलन से बार-बार अवरुद्ध हो रही है..
राज्य में पिछले दिनों में हुई भारी बारिश के चलते भूस्खलन आने से 23 सड़कें अब भी बंद हैं। इसमें सबसे अधिक 10 सड़कें कांगड़ा जिले की हैं। राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र के मुताबिक मंडी जिले में छह, कुल्लू में चार, शिमला में दो और सिरमौर में एक फिलहाल सड़क बंद है, केंद्र के मुताबिक बंद मार्गों को खोलने का प्रयास किया जा रहा है। इस बीच शिमला-बिलासपुर नेशनल हाइवे सोलन जिला के दाड़लाघाट के पास कराड़ा घाट में हुए भूस्खलन से बार-बार अवरुद्ध मार्ग में रुकावट पैदा हो रही है। रविवार की रात हुए भूस्खलन से यह हाईवे बंद हुआ था। सोमवार सुबह इसे बहाल कर लिया गया है, लेकिन देर रात यह फिर हुए भूस्खलन से कई घंटे तक बाधित रही। मंगलवार सुबह से हाईवे पर वाहनों की आवाजाही सुचारू रूप से जारी कर दिया गया है।मैदानी व मध्यपर्वतीय इलाकों में भारी बारिश के साथ मेघ गर्जना व आसमानी बिजली गिरने का येलो अलर्ट जारी किया गया है। लाहौल-स्पीति और किन्नौर को छोड़कर शेष 10 जिलों के लोगों को सतर्क रहने की हिदायत दी गई है। रिपोर्ट:-अमित कुमार सिन्हा