राजस्थान में लगातार सियासी घमासान जारी है इसी के बीच यह संभावना जताई जा रही है कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत बुधवार को सदन में शक्ति परीक्षण कर सकते हैं।इस शक्ति प्रदर्शन का एक ही मकसद है कि अशोक गहलोत अपनी सरकार पर मंडरा रहे संकट के बादलों को दूर करना चाहते हैं। सूत्रों के अनुसार मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने शनिवार शाम को राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात के दौरान 103 विधायकों के समर्थन का दावा पेश किया है। हालांकि राजभवन की तरफ से इसे केवल औपचारिक मुलाकात बताया जा रहा है। वहीं दूसरी ओर ऑडियो टेप मामले में जांच और गिरफ्तारी करने के लिए विशेष पुलिस दल गठित किया गया है।
आपको बता दें कि सोमवार को बागी विधायकों की सदस्यता को लेकर राजस्थान उच्च न्यायालय में सुनवाई होनी है। यदि सोमवार को अदालत विधायकों के नोटिस पर फैसला करती है तो बुधवार को विधानसभा का सत्र बुलाया जा सकता है।
सूत्रों के अनुसार, मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राज्यपाल से मुलाकात में उन्हें सत्र बुलाने की मंशा की जानकारी दी है। मुख्यमंत्री गहलोत ने जिन 103 विधायकों के समर्थन का दावा किया है, उनमें कांग्रेस के 88, बीटीपी के दो, सीपीएम के दो, राष्ट्रीय लोक दल के एक और एक निर्दलीय विधायक शामिल हैं। माना जा रहा है कि सदन में शक्ति परीक्षण में सफल होकर गहलोत अपनी सरकार पर मंडरा रहे संकट के बादलों को दूर करना चाहते हैं।