आजमगढ़ 20 फरवरी 2025। राहुल पूर्व माध्यमिक विद्यालय निज़ामाबाद, आज़मगढ़ की भूमि पर अवैध कब्जे के खिलाफ मैग्सेसे पुरस्कार से सम्मानित सोशलिस्ट पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव संदीप पाण्डेय ने जिलाधिकारी आजमगढ़ से शिकायत करते हुए तत्काल कब्जा हटवाते हुए दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। संदीप ने आरोप लगाया है कि जिलाधिकारी के निर्देश पर 15 नवंबर 2024 को आए निज़ामाबाद के राजस्व कर्मियों द्वारा सीमांकन कर विद्यालय की बाउंड्री का निर्माण सुनिश्चित न कराकर समझौता कराने का प्रयास किया गया। प्रशासन की इस भूमिका से असमाजिक तत्वों का मनोबल बढ़ा और उन्होंने राहुल सांकृत्यायन और अयोध्या सिंह उपाध्याय “हरिऔध” से जुड़े राष्ट्रीय-अंतराष्ट्रीय महत्व वाले स्मारक के एक भू-भाग पर अवैध कब्ज़ा कर लिया।
मैग्सेसे पुरस्कार से सम्मानित संदीप पाण्डेय ने कहा कि गाजीपुर में वीर अब्दुल हमीद का नाम स्कूल से मिटाया जा रहा है और निजामाबाद, आजमगढ़ में तो महापंडित राहुल सांकृत्यायन की प्राथमिक पाठशाला पर ही कब्जा कर लिया गया है। संदीप पाण्डेय ने मांग की है कि शासकीय निगरानी में महान ऐतिहासिक सरकारी विरासत राहुल पूर्व माध्यमिक विद्यालय, निजामाबाद, आजमगढ़ की जमीन पर अवैध कब्जे को हटवाकर जिलाधिकारी आजमगढ़ अपनी उपस्थिति में सीमांकन करवाकर चारदीवारी का निर्माण करवाकर विद्यालय की जमीन को सुरक्षित करें।
जिलाधिकारी आजमगढ़ को भेजे पत्र में कहा है कि परिषदीय राहुल पूर्व माध्यमिक विद्यालय निजामाबाद, आजमगढ़ एक प्राचीन विद्यालय है। इस विद्यालय में महान यायावर पद्मभूषण राहुल सांकृत्यायन और कवि सम्राट अयोध्या सिंह उपाध्याय हरिऔध शिक्षा ग्रहण कर चुके हैं। इस विद्यालय के उत्तरी और दक्षिणी दो प्रांगण हैं। शासकीय निर्देश पर अप्रैल 2024 में विद्यालय के पुराने कैंपस की चहरदीवारी के निर्माण को असामाजिक तत्वों द्वारा रोके जाने के बाद और 29 अक्टूबर 2024 को विद्यालय की भूमि पर अवैध तरीके से नींव खुदाई कर कब्ज़े के संदर्भ में 13 नवंबर 2024 को आजमगढ़ के नागरिक समाज के लोगों ने जिलाधिकारी से मिलकर ज्ञापन देते हुए मांग की थी कि सरकारी विद्यालय की ज़मीन का सीमांकन करवाकर चहरदीवारी का निर्माण कराकर विद्यालय की जमीन को सुरक्षित करें। जिलाधिकारी के निर्देश पर 15 नवंबर 2024 को आए निज़ामाबाद के राजस्व कर्मियों द्वारा सीमांकन कर विद्यालय की बाउंड्री का निर्माण सुनिश्चित न कराकर समझौता कराने का प्रयास किया गया। प्रशासन की इस भूमिका से असमाजिक तत्वों का मनोबल बढ़ा और उन्होंने राहुल सांकृत्यायन और अयोध्या सिंह उपाध्याय “हरिऔध” से जुड़े राष्ट्रीय-अंतराष्ट्रीय महत्व वाले स्मारक के एक भू-भाग पर अवैध कब्ज़ा कर लिया।
गौरतलब है कि समाचार पत्रों के अनुसार यह विद्यालय सन् 1805 का है। भू-अभिलेखों में मदरसा, बोर्डिंग हाउस और डिस्ट्रिक्ट बोर्ड के नाम से दर्ज इस स्कूल के बोर्डिंग हाउस के विषय में राहुल सांकृत्यायन ने अपने दस्तावेजों में उल्लेखित किया है। इस विद्यालय में अयोध्या सिंह उपाध्याय हरिऔध पढ़े और यहां पर उन्होंने पढ़ाया भी और राहुल सांकृत्यायन यहां वर्ष 1907-08 में शिक्षा ग्रहण किए। राहुल को वैश्विक स्तर पर ख्याति देने वाले इस विद्यालय के महत्व को देखते हुए 1995 में तत्कालीन राज्यपाल महामहिम मोतीलाल वोहरा ने इस विद्यालय को राहुल सांकृत्यायन को समर्पित करते हुए इसका नाम राहुल पूर्व माध्यमिक विद्यालय, निजामाबाद नामित किया। यह एक बड़ी प्रशासनिक चूक है कि आजतक भूअभिलेखों में यह राहुल पूर्व माध्यमिक विद्यालय के नाम से अंकित नहीं है जिसका फायदा उठाकर इस ऐतिहासिक विद्यालय पर कब्ज़ा किया जा रहा है।
संदीप पाण्डेय
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