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हजारीबाग ओएसिस स्कूल के प्राचार्य और CBI आमने-सामने…..

जांच में प्रश्न-पत्र का कोड हजारीबाग के ओएसिस स्कूल का मिला…


सूत्रों की माने तो,पुलिस को जांच में जले हुए नीट के प्रश्नपत्र मिले थे, जिनका कनेक्शन हजारीबाग के ओएसिस स्कूल से पाया गया था सीबीआई टीम के 12 सदस्य तीन वाहनों से बुधवार को हजारीबाग पहुंचे और पूरे मामले की जानकारी ली, 4 मई को पटना के रामकृष्ण नगर थाना क्षेत्र के खेमनीचक स्थित लर्न्ड एवं प्ले स्कूल समेत अन्य स्थानों पर पुलिस ने छापेमारी की थी. यहां अधजला नीट-यूजी का प्रश्न-पत्र पुलिस ने बरामद किया था. जांच में प्रश्न-पत्र का कोड हजारीबाग के ओएसिस स्कूल का मिला. फिर सीबीआई की टीम हजारीबाग जांच के लिए पहुंची. बिहार पुलिस की आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) की टीम से जांच के सभी दस्तावेज लेने के बाद सीबीआई मामले की जांच कर रही है, सीबीआई की टीम एहसान-उल-हक से इसी गेस्ट हाउस में पूछताछ कर रही है. पिछले तीन दिनों से सीबीआई की टीम हजारीबाग में नीट प्रश्नपत्र लीक मामले की जांच कर रही है, बुधवार को ओएसिस स्कूल में जांच के बाद सीबीआई टीम ने प्रिंसिपल एहसान उल हक को हिरासत में ले लिया था.


सीबीआई को अब ‘बड़ी मछली’ की तलाश, एक ही शख्स ने कई राज्यों में कराया पेपर लीक कराए..

प्रिंसिपल से घंटों पूछताछ करने के बाद उन्हें अपनी कस्टडी में ले लिया। उसके बाद सीबीआई वहां से रवाना हो गई। हालांकि, इस बारे में एजेंसी की ओर से कोई आधिकारिक जानकारी नहीं दी गई है, इसमें प्रश्नपत्र की फोटोकॉपी भी थी. इसके बाद बिहार की आर्थिक अपराध इकाई (EOU) ने इन जले हुए कागजात का मिलान एनटीए द्वारा उपलब्ध कराए गए मूल प्रश्नपत्र से किया, जिसमें अधजले कागजात में 68 प्रश्न मूल प्रश्नपत्र से हूबहू पाए गए. आगे की जांच में सामने आया कि पुलिस को जो प्रश्नपत्र मिले हैं, वे हजारीबाग के ओएसिस स्कूल के बुकलेट से मेल खाते हैं. इसके बाद से ही ओएसिस स्कूल पर सीबीआई की नजर है.
सीबीआई को अब ‘बड़ी मछली’ की तलाश, एक ही शख्स ने कई राज्यों में कराया पेपर लीक
इस मामले को लेकर प्रिंसिपल एहसान उल हक ने सफाई देते हुए खुद को बेकसूर बताया था,लेकिन EOU सूत्रों के मुताबिक उनकी भूमिका संदिग्ध है. बता दें कि ओएसिस स्कूल के प्रिंसिपल एहसान उल हक CBSE के सिटी कोऑर्डिनेटर भी हैं. उनके पास चार जिले हजारीबाग, चतरा, कोडरमा और रामगढ़ के सेंटर आते हैं, जहां CBSE कई एग्जाम कंडक्ट कराती है.


CBI की टीम ने बुधवार को SBI के हजारीबाग स्थित उस ब्रांच के सीसीटीवी फुटेज भी खंगाले हैं..

सीबीआई ने फिलहाल आधिकारिक तौर पर कोई वक्तव्य नहीं दिया है। एहसान उल हक को एनटीए ने नीट-यूजी परीक्षा के लिए हजारीबाग में सिटी कोऑर्डिनेटर नियुक्त किया था। उन्हें हजारीबाग शहर के चार परीक्षा केंद्रों पर प्रश्न पत्र पहुंचाने और नियमों के अनुसार परीक्षा संपन्न कराने की जिम्मेदारी दी गई थी, सीबीआई की टीम ने बुधवार को SBI के हजारीबाग स्थित उस ब्रांच के सीसीटीवी फुटेज भी खंगाले हैं, जहां प्रश्न पत्र रखे गए थे। यहां के अफसरों से भी पूछताछ की गई है। इसके पहले बिहार ईओयू की जांच में यह बात सामने आई थी कि हजारीबाग में प्रश्न पत्र कूरियर कंपनी के एक रिमोट एरिया स्थित सेंटर पर पहुंचे थे और इसके बाद प्रश्न पत्रों के ट्रंक बैंक तक ई-रिक्शा से पहुंचाए गए थे। बैंक में भी प्रश्न पत्रों को रिसीव करने से लेकर उनके रखरखाव में लापरवाही की बात कही जा रही है।सीबीआई की टीम जल्द ही रांची और देवघर भी पहुंच सकती है। ईओयू की जांच में यह बात सामने आई है कि प्रश्न पत्रों को सॉल्व करने वाला गैंग रांची से ऑपरेट किया जा रहा था,यहां मेडिकल पीजी के स्टूडेंट्स से प्रश्न पत्रों को हल करवाकर पटना भेजा गया था। इस मामले में ईओयू ने झारखंड के देवघर शहर से छह युवकों को हिरासत में लिया था। बाद इनमें से चार को गिरफ्तार कर लिया गया। सभी युवक बिहार के नालंदा के रहने वाले हैं, जो देवघर में मजदूर बनकर किराए के मकान में रह रहे थे।
रिपोर्ट:- अमित कुमार सिन्हा

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