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चीन से तनाव के बीच सरकार का बड़ा फैसला! LAC पर ‘प्रलय’ बैलिस्टिक मिसाइल की तैनाती को मिली मंजूरी…

नौसेना प्रमुख एडमिरल आर हरि कुमार ने हाल ही में कहा था कि दिवंगत जनरल बिपिन रावत सीमा पर दुश्मनों का मुकाबला करने के लिए एक रॉकेट बल के निर्माण पर काम कर रहे थे. मिसाइल का पिछले साल दिसंबर में लगातार दो दिनों में दो बार सफल परीक्षण किया गया था और तब से सेना इसके अधिग्रहण और शामिल करने की दिशा में काम कर रही है.

भारत-चीन सीमा पर तनातनी के बीच रक्षा मंत्रालय ने बड़ा फैसला किया है. रविवार को मंत्रालय ने सशस्त्र बलों के लिए 120 प्रलय सामरिक बैलिस्टिक मिसाइल खरीदने की परियोजना को मंजूरी दे दी है. इन मिसाइलकों को चीन सीमा पर तैनात किया जाएगा. ये पहली बार होगा जब बैलिस्टिक मिसाइलों को सामरिक अभियानों में इस्तेमाल किया जाएगा. ये मिसाइलें 150 से 500 किलोमीटर के बीच दुश्मन के ठिकानों को तबाह कर सकती हैं. शीर्ष सरकारी सूत्रों ने आजतक को बताया, “रॉकेट बलों को बनाने की परियोजना को बढ़ावा मिला है, क्योंकि लगभग 120 प्रलय बैलिस्टिक मिसाइल खरीदने के प्रस्ताव को एक उच्च स्तरीय रक्षा मंत्रालय की बैठक से मंजूरी मिल गई है.”

उन्होंने बताया कि मिसाइलों का अब बड़ी संख्या में उत्पादन किया जाएगा और निकट भविष्य में परिचालन सेवा में शामिल होने के लिए तैयार होने की उम्मीद है. यह परियोजना सशस्त्र बलों के लिए रणनीतिक रॉकेट बल बनाने के लिए एक बड़ा बढ़ावा होगी, जैसा कि दिवंगत चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ जनरल बिपिन रावत द्वारा किया जा रहा था.

नई तकनीकों से लैस है मिसाइल

बता दें कि हाल ही में नौसेना प्रमुख एडमिरल आर हरि कुमार ने कहा था कि दिवंगत जनरल बिपिन रावत सीमा पर दुश्मनों का मुकाबला करने के लिए एक रॉकेट बल के निर्माण पर काम कर रहे थे. मिसाइल का पिछले साल दिसंबर में लगातार दो दिनों में दो बार सफल परीक्षण किया गया था और तब से सेना इसके अधिग्रहण और शामिल करने की दिशा में काम कर रही है. 150 से 500 किमी की सीमा के साथ ‘प्रलय’ ठोस प्रणोदक रॉकेट मोटर और अन्य नई तकनीकों से संचालित है.

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