हरिद्वार के फाइव स्टार होटल में बर्थडे पार्टी थी। इसमें कॉमेडी शो भी था। सुनील पाल पर बुलावा पहुंचा। उन्हें 50% पैसा एडवांस भी मिला। 2 दिसंबर को वो मुंबई से दिल्ली एयरपोर्ट उतरे। यहां पिकअप के लिए एक कार भेजी गई। सुनील उसमें बैठे और हरिद्वार रवाना हो गए।
मेरठ, यूपी के हाईवे स्थित एक ढाबे पर उन्होंने खाना खाया। इसके बाद सुनील पाल को दूसरी गाड़ी में शिफ्ट किया गया। कार में पीछे कुछ अज्ञात युवक बैठे थे। उन्होंने सुनील पाल की आंखों पर काली पट्टी बांध दी और कहा कि तुम किडनैप हो गए हो।
वो सुनील पाल को एक अज्ञात जगह ले गए। रिहाई के बदले 20 लाख मांगे। 10 लाख रुपए पर सहमति बन गई। सुनील ने दोस्तों को फोन करके जैसे-तैसे साढ़े 7 लाख रुपए की व्यवस्था की, तब वो छूट पाए। मुंबई वापस जाने के लिए किडनैपर्स ने 20 हजार रुपए भी सुनील पाल को दिए।
आखिर में पता चला…हरिद्वार वाला ईवेंट पूरी तरह फेक था। जिन्होंने किडनैप किया, उन्होंने ही ईवेंट के बहाने सुनील पाल को बुलाया और किडनैप कर फिरौती वसूल ली।
