ठंड का बच्चों पर असर व बचाव: डॉक्टर कुंदन कुमार

प्रखंड क्षेत्र अंतर्गत ठंड लगातार बढ़ रही है।साल खत्म होने के साथ ही तापमान का पारा भी धीरे-धीरे गिर रहा है। तापमान गिरने का बुरा असर बच्चों पर भी पड़ता है।ऐसे ही मौसम में बच्चों को ठंड लगने का खतरा बढ़ जाता है।इसी कारण मासूम बच्चों में डायरिया,जुकाम,खांसी जैसी समस्याओं के शिकार हो जाते हैं।शीत लहर का असर बच्चों पर ज्यादा होता है।इसलिए आपको अपने बच्चों के लिए खास एहतियात बरतने की जरूरत है,उक्त जानकारी नावकोठी के आयुर्वेद चिकित्सक डॉक्टर कुंदन कुमार ने दी।उन्होंने बताया कि बच्चों में दस्त,बुखार, गले में खराश,जुकाम आदि लक्षण नजर आए तो अस्पताल जाकर डॉक्टर से इलाज करवाएं।इसके साथ ही बच्चों को सभी जरूरी वैक्सीन लगवाएं।उन्होंने बताया कि बच्चों को ठंड लगने पर गले में दर्द,व्यवहार में चिड़चिड़ापन,बोलने में परेशानी या गले में खराश, कमजोरी,शरीर का तापमान में वृद्धि एवं सांस लेने में परेशानी जैसी समस्या हो सकती है।वहीं उन्होंने बताया कि 5 वर्ष या उससे कम उम्र का बच्चा जो ठोस आहार नहीं लेता है आप बच्चे की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के लिए दाल का पानी पिलाएं, ताजा फल का रस पिलाएं,दूध,टमाटर का सूप या वेजिटेबल सूप पिला सकते हैं।दस्त होने पर ओआरएस घोल का सेवन करवाएं।गुनगुना व ताजा खाना ही खिलाएं।बच्चा अगर छोटा है तो उसे स्तनपान करवाएं इससे उसकी रोग प्रतिरोधक क्षमता बनी रहेगी।उन्होंने बताया कि कमरे में हवा का प्रवेश आने से रोके और कमरे में हीटर का प्रयोग ना करें।ठंड के दिनों में भी बच्चों के शरीर और उसके आसपास सफाई बनाए रखें।

नावकोठी/बेगूसराय/

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