हरिद्वार. हरिद्वार के कोविड अस्पताल में अब तक कोरोना से 65 मरीजों की मौत हो चुकी है. आरोप है कि अस्पताल ने इन मौतों की सूचना को प्रशासन से छिपाया. 25 अप्रैल से 12 मई के बीच हुए इन मौतों की कोविड कंट्रोल रूम को जानकारी नही दी गई.
राज्य सरकार के कोविड कंट्रोल के नोडल अधिकारी ने हॉस्पिटल और सीएमओ हरिद्वार को नोटिस भेजकर जवाब तलब किया है.
बता दें कि बाबा बर्फानी हॉस्पिटल को एक निजी धार्मिक संस्था संचालित करती है. कुंभ मेले के दौरान प्रशासन ने इसे 500 बेड के कोविड केयर हॉस्पिटल में तब्दील कर दिया था.
18 दिन में हुई 65 लोगों की मौत
मौत का आंकड़ा 25 अप्रैल से 12 मई के बीच का है. इस दौरान अस्पताल में कोरोना से 65 मरीजों की मौत हो गई. मगर इसकी जानकारी स्टेट कॉविड कंट्रोल रूम को नहीं दी गई. स्वास्थ्य विभाग के आला अधिकारियों की जांच के बाद मामला सामने आया.
जबकि उत्तराखंड सरकार के आदेश है कि राज्य में जिस अस्पताल में भी कोरोना मरीजो की इलाज के दौरान मौत हो जाती है तो उसकी जानकारी 24 घंटे के भीतर राज्य कोविड कंट्रोल रूम को देनी अनिवार्य है. मगर 18 दिन में हर रोज मौत होती रही, लेकिन अस्पताल प्रशासन ने समय से सूचना देना जरूरी नही समझा.
संबंधित खबरें
- मेरठ: सीएम योगी ने लिया कोरोना व्यवस्थाओं का जायजा, जनप्रतिनिधियों से मांगे सुझाव
- मोटर व्हीकल टैक्स में दो साल की छूट दे सरकार, चालकों को मिले 10 हजार की आर्थिक मदद- उत्तराखंड टैक्सी महासंघ
- भदोही: ऑक्सीजन सिलेंडर की काबालाजारी कर रहे दो आरोपी गिरफ्तार, 9 जम्बो सिलेंडर बरामद
- अलीगढ़: टोल प्लाजा पर खड़े ट्रक में लगी भीषण आग, बाल-बाल बची ड्राइवर की जान
- मुरादाबाद: सट्टे के ठिकाने पर छापा मारने गई पुलिस पर पथराव के बाद फायरिंग, तीन आरोपी गिरफ्तार
वहीं, हरिद्वार के जिलाधिकारी का कहना है कि अस्पताल द्वारा दिये गए डाटा को डॉक्टरों के छुट्टी पर होने की वजह से समय से एंट्री नही किया जा सका इसलिए यह सारा भ्रम पैदा हुआ.