उत्तरप्रदेश/कौशाम्बी संवाददाता मुज़फ्फर की रिपोर्ट
उ0प्र0 राजस्व संहिता की धारा-34 व 24 के वादों का निस्तारण ससमय कराये जाने के दियें निर्देश
कौशाम्बी मण्डलायुक्त, प्रयागराज विजय विश्वास पंत द्वारा बुधवार को तहसील-मंझनपुर का आकस्मिक निरक्षण कर मुकदमों के निस्तारण एवं दस्तावेजों के रख-रखाव का जायजा लिया गया।
मण्डलायुक्त ने तहसील-मंझनपुर के कोर्ट में एक वर्ष से ज्यादा लम्बित मुकदमों की फाइलों को देखा, जिस पर बैनामे से सम्बन्धित वादों के निस्तारण में काफी बिलम्ब पाया गया, जिस पर उन्होंने कहा कि बैनामा से सम्बन्धित वादों का निस्तारण समय से कराया जाय, इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरती जाय। उन्हांने 03 माह से अधिक एवं 06 माह से कम के अविवादित मुकदमों की लिस्ट को देखते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दियें। उन्होंने धारा-80 के तहत रिजेक्ट किये गये आवेदनों की जॉच की एवं आवेदनों को किस कारणवश रिजेक्ट किया गया है, उसकी भी जॉच की। उन्होंने उ0प्र0 राजस्व संहिता की धारा-34 व 24 के वादों का निस्तारण ससमय कराये जाने के निर्देश दिये एवं कहा कि इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही क्षम्य नहीं होगी। उन्होंने कहा कि ऑनलाइन वरासत के प्राप्त आवेदनों को बिना देरी किये जल्द से जल्द निस्तारण कराये जाने के निर्देश दियें। साथ ही उन्होंने कहा कि जो भी आवेदन निरस्त हों, उनकी रैण्डम जॉच तहसीलदार द्वारा की जाय। वादों के निस्तारण के कई प्रकरणां में पाया कि निस्तारण मेंं बेवजह देरी की जा रहीं है, जिस पर उन्हांने इन वादों को जब दाखिल किया गया था, तब से आज तक कौन-कौन तहसीलदार थे, इसकी भी जानकारी उपलब्ध कराये जाने के निर्देश दियें। उन्हांने उप जिलाधिकारी मंझनपुर के कोर्ट में दायर वादों की फाइलों का भी निरीक्षण किया। मण्डलायुक्त ने कहा कि एक वर्ष से 03 वर्ष तक की धारा-24 की जिन फाइलां को निरस्त किया गया है, उसकी जानकारी उपलब्ध करायी जाय। उन्होंने एक वाद की फाइल के निरीक्षण के दौरान पाया कि जो रिपार्ट एक माह में लग जानी जाहिए थी, उसमें भी 06 माह का समय लग रहा है, जिस पर मण्डलायुक्त ने उप जिलाधिकारी को इसकी मॉनीटरिंग करने के निर्देश दियें।इस अवसर पर जिलाधिकारी मधुसूदन हुल्गी, अपर जिलाधिकारी श्रीमती शालिनी प्रभाकर एवं प्रबुद्ध सिंह सहित अन्य सम्बन्धित अधिकारी गण उपस्थित रहें