जो भारत की गंगा-जमुनी तहज़ीब और आपसी भाईचारे की मिसाल पेश करती है। बिजनौर (उत्तर प्रदेश) में एक मुस्लिम समाजसेवी ने हिंदू लड़की की शादी कराकर एक मिसाल कायम की है। उन्होंने न केवल लड़की के ‘बड़े पापा’ का फर्ज निभाया, बल्कि यह भी दिखाया कि इंसानियत और सामाजिक सौहार्द किसी धर्म की सीमाओं में बंधा नहीं होता।
ऐसी घटनाएं यह संदेश देती हैं कि समाज में आपसी सहयोग, समझदारी और भाईचारा ही असली इंसानियत है। इस समाजसेवी का कदम निश्चित रूप से दूसरों को भी प्रेरित करेगा कि वे मजहब से ऊपर उठकर मानवीय मूल्यों को प्राथमिकता दें।