कोविड-19 (कोरोना वायरस) के इलाज में अहम माने जाने वाली दवा हाइड्रॉक्सीक्लोरोक्विन दुनिया के दूसरे देशों को भी उपलब्ध कराना चाहती है, लेकिन घरेलू हालात जिस तरह से बदल रहे हैं उसे देखते हुए वह इसका निर्यात खोल कर जोखिम भी नहीं उठाना चाहती। दूसरी तरफ अमेरिका, ब्राजील समेत कम से कम 30 देश भारत से इस दवा की आपूर्ति करने की मांग कर चुके हैं। सरकार फिलहाल दवा निर्माताओं से बात कर रही है ताकि इस दवा का उत्पादन तेजी से बढ़ाया जा सके, हालांकि अधिकारी स्वीकार कर रहे हैं कि आनन फानन में उत्पादन भी बढ़ाना संभव नहीं है।
भारतीय अधिकारियों का कहना है कि अमेरिका, ब्राजील के अलावा 30 यूरोपीय व एशियाई देशों ने भारत से यह दवा की मांग की है। इसमें पड़ोसी देश भी शामिल है। दरअसल, जब से अमेरिकी डाक्टरों ने यह कहा है कि मलेरिया में इस्तेमाल होने वाली यह दवा कोरोना के इलाज के लिए कारगर है, तब से इसकी मांग बढ़ गई है। दूसरी तरफ, भारत पहले यह सुनिश्चित करना चाहता है कि उसकी 135 करोड़ आबादी के लिए यह उपलब्ध रहे। इसलिए शनिवार को इसके निर्यात पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया गया। यहां तक कि विशेष आर्थिक जोन से होने वाले निर्यात पर भी रोक लगा दिया गया है।